पीलीभीत जनप्रतिनिधियों एवं जिलाधिकारी ने गोमती उद्गम स्थल पर किया स्वच्छता हेतु श्रमदान। जनप्रतिनिधियों, जिलाधिकारी व प्रभागीय निदेशक सहित अन्य गोमती उद्गम स्थल पर किया पौधारोपण।
पीलीभीत आज विश्व पर्यावरण दिवस एवं गंगा दशहरा के अवसर पर गोमती उद्गम स्थल पर वन विभाग की नमामि गंगे परियोजना द्वारा भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत स्वच्छता के लिए श्रमदान कार्यक्रम एवं नमामि गंगे कार्यक्रम के अंतर्गत गोमती आरती व पौधारोपण से की गई। साथ ही कार्यक्रम में उपस्थित अधिकारी व अन्य सभी को मां गंगा की स्वच्छता की शपथ दिलाई गई। जिसमें गोमती नदी की शुद्धता, संरक्षण एवं आस्था का संदेश दिया गया।
‘‘एक पेड़ माँ के नाम 2.0’’अभियान के अंतर्गत आयोजित कार्यक्रम में वृक्षारोपण, जन-जागरूकता एवं पर्यावरण संरक्षण की दिशा में विभिन्न गतिविधियाँ संपन्न हुईं। जिनमें स्वच्छता के प्रति श्रम दान किया गया। इस दौरान गोमती उद्गम स्थल पर मा0 जिलाध्यक्ष संजीव प्रताप सिंह, विधायक पूरनपुर बाबूराम पासवान, जिलाधिकारी ज्ञानेन्द्र सिंह, प्रभागीय निदेशक सामाजिक वानिकी वन एवं वन्य जीव प्रभाग ने द्वारा सिंदूर, मॉलश्री, पीपल, शीशम, अशोक सहित विभिन्न पौधों का रोपण किया। कार्यक्रम की अध्यक्षता जिलाधिकारी ज्ञानेंद्र सिंह ने की। साथ ही मुख्य अतिथि विधायक पूरनपुर, विशिष्ट अतिथि जिलाध्यक्ष सहित अन्य जनप्रतिनिधियों द्वारा भी पौधारोपण कर पर्यावरण संरक्षण का संदेश दिया गया।
इस दौरान जिलाधिकारी ने गोमती को पर्यटक स्थल के रूप में विकसित करने हेतु कहा, साथ ही सभी श्रद्धालुओं से अपील की, कि सब मिलकर थोड़ा थोड़ा प्रयास करेंगे तो हम अपने प्रयासों में सफल होंगे। इस दौरान उन्होंने सभी से प्लास्टिक मुक्त गोमती उद्गम स्थल बनाने की अपील की। उन्होंने कहा कि अगर हम इस पर्यटक स्थल को प्लास्टिक से मुक्त कर देंगे तो इसकी सुंदरता और भी बढ़ जाएगी। इसके साथ ही उन्होंने पौधारोपण हेतु सभी को जागरूक किया। उन्होंने कहा कि प्लास्टिक मुक्त वातावरण बनाना एवं जल स्रोतों के संरक्षण हेतु जनभागीदारी को मजबूत करना रहा।
इस अवसर पर जिलाधिकारी, प्रभागीय निदेशक सामाजिक वानिकी वन एवं वन्य जीव प्रभाग सामाजिक वानिकी भरत कुमार डीके, मुख्य चिकित्सा अधिकारी आलोक कुमार, जिला परियोजना अधिकारी, जिला गंगा समिति सौरभ सिंह एवं जिला पर्यावरण समिति जेआरएफ आदर्श कुमार सहित विकास विभाग, राजस्व के अधिकारी अन्य प्रशासनिक एवं वन विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।